Type 2 diabetes diet: एक नए अध्ययन ने दुनिया भर में टाइप 2 डायबिटीज के एक करोड़ 40 लाख मामलों की वजह खराब खान-पान बताया है।
यूएस की टफ्ट्स यूनिवर्सिटी के शोधकर्ताओं ने वर्ष 2018 में गलत भोजन से डायबिटीज के 10 में से 7 मामले पाए है।
नेचर मेडिसिन में छपा उनका यह अध्ययन 184 देशों के निवासियों की आहार आदतों पर आधारित बताया गया है।
विश्लेषण से यह भी ज्ञात हुआ कि टाइप 2 डायबिटीज मामलों में उछाल के पीछे कैसा खान-पान जिम्मेदार था।
विशेषज्ञों ने टाइप 2 डायबिटीज में बढ़ोतरी के लिए खराब कार्बोहाइड्रेट विशेष रूप से रिफाइंड अनाज को प्रमुख दोषी माना।
11 खराब आहार आदतों में कम साबुत अनाज, ज़्यादा रिफाइंड चावल एवं मैदा और प्रोसेस्ड रेड मीट का अधिक सेवन प्रमुख था।
हालांकि, ज़्यादा फ्रूट जूस पीने और कम सब्जियां या नट्स खाने से रोग के नए मामलों में कम वृद्धि हुई।
बता दें कि डायबिटीज में इंसुलिन ब्लड ग्लूकोज़ को सही से कंट्रोल नहीं कर पाता है। इससे ब्लड ग्लूकोज जानलेवा हो जाता है।
मध्य और पूर्वी यूरोप एवं मध्य एशिया, खासकर पोलैंड और रूस में रेड मीट, प्रोसेस्ड मीट और आलू के भरपूर सेवन ने डायबिटीज बढ़ाई।
वहीँ, लैटिन अमेरिका और कैरेबियन देशों में भी डायबिटीज के मामले अधिक संख्या में मिले।
विशेषकर कोलम्बिया एवं मैक्सिको में मीठे ड्रिंक्स और प्रोसेस्ड मीट की उच्च खपत तथा साबुत अनाज का कम सेवन दोषी था।
जिन क्षेत्रों में खान-पान का टाइप 2 डायबिटीज मामलों पर कम असर पड़ा उनमें दक्षिण एशिया और सब-सहारण अफ्रीका शामिल थे।
हालांकि, साल 1990-2018 के बीच खराब आहार के कारण टाइप 2 डायबिटीज में सबसे बड़ी वृद्धि सब-सहारण अफ्रीका में देखी गई।
30 सर्वाधिक आबादी वाले देशों में भारत, नाइजीरिया और इथियोपिया में खराब भोजन से हुई डायबिटीज के सबसे कम मामले थे।